pathyvastu ka arth

पाठ्यवस्तु या पाठ्यविवरण (Pathyvastu ka arth)

पाठ्यवस्तु के बारे में संक्षेप में जानने से पहले सर्वप्रथम हम यह जानेंगे कि पाठ्यवस्तु का अर्थ (Pathyvastu ka arth) क्या होता है। पाठ्यवस्तु का अर्थ (Pathyvastu ka arth) समझना बहुत आवश्यक है क्योंकि अक्सर कई शिक्षाशास्त्री पाठ्यक्रम और पाठ्यवस्तु को एक-दूसरे का पर्याय बताते हैं परन्तु पाठ्यक्रम एवं पाठ्यवस्तु में अंश एवं पूर्ण का अंतर है अर्थात पाठ्यवस्तु पाठ्यक्रम का एक छोटा-सा भाग है।

पाठ्यवस्तु किसी एक कक्षा के किसी एक विषय को लेकर चलता है तथा उस कक्षा के हर विषय का अलग-अलग पाठ्यवस्तु तैयार किया जाता है। पाठ्यवस्तु अंग मात्र है। जिस प्रकार किसी बड़े लक्ष्य को प्राप्त करने के लिये छोटे-छोटे लक्ष्य या उद्देश्य बनाये जाते हैं उसी प्रकार पाठ्यचर्या या पाठ्यक्रम के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए विभिन्न विषयों के पाठ्यवस्तु तैयार किये जाते हैं। किसी एक कक्षा का एक पाठ्यक्रम (Curriculum) होता है तथा विभिन्न पाठ्यवस्तु (Syllabus) होते हैं। अतः हम कह सकते हैं कि किसी कक्षा में हर विषय के अलग-अलग पाठ्यवस्तु होते हैं जिसे उस विषय के विशेषज्ञ द्वारा पढ़ाया जाता है।

पाठ्यवस्तु का अर्थ (Pathyvastu ka arth)

पाठ्यवस्तु के अर्थ (Pathyvastu ka arth) को समझने से पहले हमें पाठ्यवस्तु शब्द के अर्थ को समझना आवश्यक है।

पाठ्यवस्तु का शाब्दिक अर्थ (Pathyvastu ka arth)

शाब्दिक अर्थों (Pathyvastu ka arth) में देखा जाए तो पाठ्यवस्तु आंग्ल भाषा सिलेबस (Syllabus) का हिंदी रूपांतरण है तथा सिलेबस शब्द लैटिन भाषा के सिलियबोस (Silliybos) से लिया गया है जिसका अर्थ होता है चमड़े का नाम पत्र, जिसका प्रयोग लिखने के लिए किया जाता था।

पाठ्यवस्तु एक दस्तावेज है जो कि जानकारियों को संचारित करता है या किसी विशिष्ट कार्यप्रणाली पाठ्यवस्तु के बताता है। पाठ्यवस्तु को पाठ्यविवरण भी कहा जाता है जिसका अर्थ हुआ पाठ्यपुस्तक के अंदर दिए गए अध्यायों का विवरण देना। पाठ्यवस्तु सामान्यतः किसी विशेष विषय के शिक्षकों द्वारा किसी एक कक्षा को ध्यान में रखकर बनाया जाता है।

पाठ्यवस्तु किसी कक्षा के विशेष विषय के शिक्षण द्वारा प्राप्त लक्ष्यों को छात्रों के सामने रखता है और यह बताता है कि किसी कक्षा के छात्रों से सत्र के अंत में क्या अपेक्षा की जाती है। पाठ्यवस्तु शिक्षक और छात्र के मध्य एक भेदभाव रहित वातावरण का निर्माण करता है। अर्थात पाठ्यवस्तु शिक्षक एवं छात्र को बताता है कि सत्र के दौरान क्या पढ़ाना है और क्या पढ़ना है।

पाठ्यवस्तु की परिभाषाएं

पाठ्यवस्तु एक वृहत विषय है तथा इस विषय में कई शिक्षाशास्त्री मनोवैज्ञानिक एवं विद्वानों ने अपने मत दिये हैं। पाठ्यवस्तु को पाठ्यविवरण भी कहते हैं तथा पाठ्यवस्तु की परिभाषाएं निम्न हैं-

रोड्स के अनुसार,

“पाठ्यवस्तु एक शब्द है जिसका लैटिन से व्युत्पत्ति का अर्थ है “एक पुस्तक पर लेबल”।”

इस परिभाषा में रोड्स बताते हैं कि पाठ्यवस्तु एक शब्द है जिसका अर्थ है पुस्तक पर लेबल। यहां लेबल का अर्थ पुस्तक के ऊपर लिखे हुए नाम से है। किसी पुस्तक के बाहर जो नाम लिखा होता है उस पुस्तक के अंदर हम उसी के बारे में पढ़ते हैं।
अतः किसी भी पुस्तक के नाम से पता चल जाता है कि उस पुस्तक के अंदर क्या है उसी प्रकार पाठ्यवस्तु किसी कक्षा के किसी विषय में क्या-क्या अध्ययन करना है, बताता है।

हटचिंसन और वॉटर के अनुसार,

“इसके सरल स्तर पर एक सिलेबस का वर्णन किया जा सकता है कि इसे क्या सीखा जाना चाहिए।”

हटचिंसन और वॉटर मोहदय ने पाठ्यवस्तु को बहुत ही आसान शब्दों में बताया है कि पाठ्यवस्तु का मतलब है- क्या सीखा जाना है। अर्थात पाठ्यवस्तु हमें बताता है कि एक सत्र के अंतर्गत हमें क्या – क्या सीखना है।

ब्रीन के अनुसार,

“पाठ्यवस्तु हमारे शिक्षण और हमारे छात्रों के सीखने के माध्यम से प्राप्त होने वाली योजना है।”

ब्रीन महोदय बताते हैं कि पाठ्यवस्तु एक पूर्व निर्धारित योजना है जिससे हमें यह पता चलता है कि हमारे शिक्षण से और छात्रों के सीखने से क्या प्राप्त किया जाए।

रोबर्ट डोटर्न के अनुसार,

“पाठ्यवस्तु विद्यालय वर्ष के दौरान विभिन्न विषयों में शिक्षक द्वारा छात्रों को दिए जाने वाले ज्ञान की मात्रा के विषय में निश्चित जानकारी प्रस्तुत करता है।”

हेनरी हैरप के अनुसार,

“पाठ्यवस्तु मात्र वह मुद्रित संदर्शिका है जो यह बताती है कि छात्रों को क्या सीखना है। पाठ्यवस्तु निर्माण पाठ्यक्रम विकास के कार्य का एक तर्कसम्मत सोपान है।”

श्रीमती आर. के. शर्मा के अनुसार,

“पाठ्यवस्तु किसी विद्यालयी या शैक्षिक विषय की उस विस्तृत रुपरेखा से है जिसमे शिक्षक, शिक्षार्थी एवं समुदाय के उत्तरदायित्वों के निर्वहन के साथ -साथ छात्र के सर्वांगीड़ विकास के अध्ययन तत्त्व समाहित होते हैं।”

उपसंहार

पाठ्यवस्तु शब्द आंग्ल भाषा के सिलेबस (Syllabus) शब्द का हिंदी रूपांतरण है जो कि लैटिन भाषा के सिलियबोस (Silliybos) से लिया गया है जिसका अर्थ होता है चमड़े का नाम पत्र, जिसका बहुत पहले लिखने के लिए प्रयोग किया जाता था।
पाठ्यवस्तु एक दस्तावेज है जिसे सूचीबद्ध किया गया है अर्थात सूची से बना हुआ है। यह एक ऐसी संरचना होती है जिसके स्पष्ट उद्देश्य होते हैं तथा ये उद्देश्य सबके लिए एक समान होते हैं अर्थात किसी कक्षा के किसी विषय के पाठ्यचर्या का उद्देश्य कक्षा के छात्रों और शिक्षक के लिए समान होता है। पाठ्यवस्तु के अंदर दी गयी सूचि को एक निश्चित समय के अंतर्गत समाप्त करना होता है।

पाठ्यवस्तु का अर्थ (Pathyvastu ka arth) समझने के पश्चात हम कह सकते हैं कि पाठ्यवस्तु (Syllabus) केवल पाठ्यचर्या (Curriculum) का एक अंग मात्र है तथा बड़े लक्ष्य प्राप्त करने में एक उद्देश्य के समान कार्य करता है।

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